Şarkı sözleri

तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा अच्छा है, अभी तक तेरा कुछ नाम नहीं है तुझको किसी मज़हब से कोई काम नहीं है अच्छा है, अभी तक तेरा कुछ नाम नहीं है तुझको किसी मज़हब से कोई काम नहीं है जिस इल्म ने इंसानों को तक़सीम किया है उस इल्म का तुझ पर कोई इल्ज़ाम नहीं है तू बदले हुए वक़्त की पहचान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा मालिक ने हर इंसान को इंसान बनाया हमने उसे हिन्दू या मुसलमान बनाया मालिक ने हर इंसान को इंसान बनाया हमने उसे हिन्दू या मुसलमान बनाया क़ुदरत ने तो बख़्शी थी हमें एक ही धरती हमने कहीं भारत, कहीं ईरान बनाया जो तोड़ दे हर बंध वो तूफ़ान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा नफ़रत जो सिखाए वो धरम तेरा नहीं है इंसाँ को जो रौंदे वो क़दम तेरा नहीं है नफ़रत जो सिखाए वो धर्म तेरा नहीं है इंसाँ को जो रौंदे वो क़दम तेरा नहीं है क़ुरआन ना हो जिसमें वो मंदिर नहीं तेरा गीता ना हो जिसमें वो हरम तेरा नहीं है तू अम्न का और सुलह का अरमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा ये दीन के ताजर ये वतन बेचने वाले, वतन बेचने वाले ये दीन के ताजर ये वतन बेचने वाले इंसानों की लाशों के कफ़न बेचने वाले, कफ़न बेचने वाले इंसानों की लाशों के कफ़न बेचने वाले ये महलों में बैठे हुए ये क़ातिल ये लुटेरे काँटों के एवज़ रूह-ए-चमन बेचने वाले काँटों के एवज़ रूह-ए-चमन बेचने वाले तू इनके लिए मौत का ऐलान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा तू हिन्दू बनेगा, ना मुसलमान बनेगा इंसान की औलाद है, इंसान बनेगा
Writer(s): N Dutta, Ludiavani Sahir Lyrics powered by www.musixmatch.com
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