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PERFORMING ARTISTS
Lata Mangeshkar
Lata Mangeshkar
Performer
Mohd. Rafi
Mohd. Rafi
Performer
COMPOSITION & LYRICS
Ravi
Ravi
Composer
Sahir Ludhianvi
Sahir Ludhianvi
Songwriter

Lyrics

तुम्हारी नज़र क्यूँ खफ़ा हो गई?
ख़ता बख़्श दो 'गर ख़ता हो गई
तुम्हारी नज़र क्यूँ खफ़ा हो गई?
ख़ता बख़्श दो 'गर ख़ता हो गई
हमारा इरादा तो कुछ भी ना था
तुम्हारी ख़ता खुद सज़ा हो गई
हमारा इरादा तो कुछ भी ना था
तुम्हारी ख़ता खुद सज़ा हो गई
सज़ा ही सही आज कुछ तो मिला है
सज़ा में भी एक प्यार का सिलसिला है
सज़ा ही सही आज कुछ तो मिला है
सज़ा में भी एक प्यार का सिलसिला है
मोहब्बत का अब कुछ भी अंजाम हो
मुलाक़ात की इब्तिदा हो गई
तुम्हारी नज़र क्यूँ खफ़ा हो गई?
ख़ता बख़्श दो 'गर ख़ता हो गई
हमारा इरादा तो कुछ भी ना था
तुम्हारी ख़ता खुद सज़ा हो गई
मुलाक़ात पर इतने मगरूर क्यूँ हो?
हमारी खुशामद पे मजबूर क्यूँ हो?
मुलाक़ात पर इतने मगरूर क्यूँ हो?
हमारी खुशामद पे मजबूर क्यूँ हो?
मनाने की आदत कहाँ पड़ गई?
सताने की तालीम क्या हो गई?
तुम्हारी नज़र क्यूँ खफ़ा हो गई?
ख़ता बख़्श दो 'गर ख़ता हो गई
सताते ना हम तो मनाते ही कैसे?
तुम्हें अपने नज़दीक लाते ही कैसे?
सताते ना हम तो मनाते ही कैसे?
तुम्हें अपने नज़दीक लाते ही कैसे?
इसी दिन का चाहत को अरमान था
क़ुबूल आज दिल की दुआ हो गई
तुम्हारी नज़र क्यूँ खफ़ा हो गई?
ख़ता बख़्श दो 'गर ख़ता हो गई
हमारा इरादा तो कुछ भी ना था
तुम्हारी ख़ता खुद सज़ा हो गई
Written by: Ravi, Ravi Shankar, Sahir Ludhianvi
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